“अभ्युदय वास्तल्यम” ने प्रस्तुत किया मानव सेवा का अनुकरणीय उदाहरण/ दिव्यांग “अनन्या” को प्रदान की व्हील चेयर

National Uttarakhand

*दिव्यांगों की सेवा ही सबसे बड़ी सेवा हैं
देहरादून: जीवन तभी सफल हैं जब हम इस धारा में मानव सेवा कर सके। पर्यावरणविद् वृक्षमित्र डॉ त्रिलोक चंद्र सोनी के सहयोग से अभ्युदय वात्सल्यम संस्था,(जो अनेक राज्यों में सेवारत है), के संस्थापक डॉ अशोक कुमार मिश्र “क्षितिज” व अध्यक्ष व निदेशक डॉ गार्गी मिश्रा ने देहरादून, फुलसैनी निवासी सतेंद्र सिंह राणा व रजनी राणा की दिव्यांग पुत्री अनन्या राणा को व्हील चीयर भेंट की। नारी शक्ति को बढ़ावा देते हुए नवरात्रों पर अनन्या को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया।


अभ्युदय वात्सल्यम की निदेशक व अध्यक्ष डॉ गार्गी मिश्रा ने कहा मानव सेवा सबसे बड़ी सेवा है आज मुझे बहुत खुसी हुईं की हम किसी के काम आ सके। हमारी संस्था समाज में उत्कृष्ट कार्य करने वालो को सम्मानित भी करती हैं ताकि उन्हें नई ऊर्जा मिल सके।


पर्यावरणविद् वृक्षमित्र डॉ त्रिलोक चंद्र सोनी ने कहा समाज में कई ऐसे लोग हैं जो अपने को असहाय महसूस करते हैं उनसे मिलकर उन्हें प्रेरित करना मानव जीवन का उद्देश्य होना चाहिए। डॉ अशोक कुमार मिश्र “क्षितिज ” कहते हैं हमारा प्रयास है कि समाज में छिपी प्रतिभाओं व असहाय लोगों को समाज की मुख्यधारा से जोड़ेने का प्रयास करता हूं। सतेंद्र सिंह राणा कहते है आज मेरी बेटी को जो व्हील चीयर मिली हैं वो वृक्षमित्र डॉ सोनी के वजह मिली हैं मैं सभी का आभार व्यक्त करता हूं। रजनी राणा ने डॉ सोनी, “अभ्युदय वात्सल्यम” के संस्थापक डॉ अशोक कुमार मिश्र व अध्यक्ष डॉ गार्गी मिश्रा का आभार व्यक्त करते हुए कहा, आप लोगों की वजह मेरी बेटी को व्हील चेयर मिली है अब हम अपनी बेटी को स्कूल पढ़ाने भेजेंगे, आपलोगों ने जो सम्मान मेरी बेटी को दिया मैं आपकी आभारी रहूंगी।

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